काशी में हुआ सोच से परे विकास – Pro Poor Project Sarnath Development
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Pro Poor Project Sarnath Development : आपने अभी तक कई डेवेलपमेन्ट प्रोजेक्ट देखे होंगे परंतु काशी में एक ऐसी विकास परियोजना पूर्ण होने वाली है जो केवल पर्यटकों के लिए ही विशेष नहीं होगी अपितु क्षेत्रीय विकास के साथ स्थानीय लोगों का भी विकास होगा।
Pro Poor Project Sarnath Development : मित्रों हम सभी जानते हैं कि सरकार ने देश की आधारभूत संरचना को नवीन जीवन प्रदान करने के लिए कितना कार्य किया है, तथा यदि वाराणसी के संदर्भ में बात करी जाए तो विगत 10 वर्षों में वाराणसी का कायाकल्प ही कर दिया गया है। जिसके लिए नगर में रिंग रोड, मल्टीलेवल पार्किंगस्, हाॅस्पिटल, पार्कों का जीर्णोद्धार, गंगा घाटों का सौंदर्यीकरण, काशी विश्वनाथ धाम कारिडोर का पुरस्कार, माॅडल घाट का निर्माण, स्वक्षता का ध्यान, जन सुविधाओं व सुरक्षा की व्यवस्था आदि पर अनेक कार्य हुए हैं तथा यह निरंतर जारी भी हैं।
इसी क्रम में नगर में स्थित सारनाथ का भी विशेष विकास कार्य संचालित है जिससे आपको अब यहां आने पर यूरोप व अमेरिका में होने जैसी अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाओं का अनुभव होगा।
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काशी के पर्यटन स्थल सारनाथ की छवि अब परिवर्तित होने जा रही है। इस परिवर्तित छवि से न केवल सारनाथ आने वाले पर्यटकों को बड़ी सुविधा मिलेगी, अपितु स्थानीय लोगों को रोजगार भी मिलेगा। जी हां पहले सारनाथ पर्यटन स्थल पर आने वाले पर्यटकों को जलभराव और गंदगी का सामना करना पड़ता था। इसके लिए वीडीए ने पर्यटन विभाग संग मिलकर प्रो पुअर प्रोजेक्ट पर कार्य किया है, जिससे यहां सीवरेज और बिजली का कार्य भी कराया गया है। इसके साथ ही हेरिटेज थीम के माध्यम से यहां अनेक विकास कार्य किए हुए हैं।
कहते हैं कि किसी पर्यटक स्थल के विकास से उस नगर के स्थानीय लोगों के जीवन में भी सुधार आता है और इस सिद्धांत को ध्यान में रखते हुए वाराणसी के सारनाथ में इस प्रो पुअर प्रोजेक्ट पर कार्य हुआ है। इसके अंतर्गत भगवान बुद्ध की प्रथम उपदेश स्थली सारनाथ के आसपास के अद्भुत विकास के खाके को तैयार किया गया है। इसका बड़ा उद्देश्य यहां अधिक से अधिक पर्यटक को आकर्षित करने के साथ ही आसपास रहने वाले लोगों की आय व रोजगार में वृद्धि करना है।
बताते चले कि भगवान बुद्ध के प्रथम उपदेश स्थली सारनाथ की विश्व के धार्मिक पर्यटन के मानचित्र पर विशेष पहचान है।यह भूमि बौद्ध भिक्षुओं की तीर्थ स्थल मानी जाती है और प्रत्येक वर्ष यहां लाखों की संख्या में पर्यटक विश्व भर से आते हैं। ऐसे में पर्यटकों को और लुभाने के लिए और उन्हें सारनाथ के एक नए आयाम का अवलोकन कराने के लिए इस योजना पर कार्य किया गया है। क्योंकि, अमूमन सारनाथ में धमेख व चौखंडी स्तूप के आसपास पानी जमा होने की समस्या रही है, जिससे न केवल पर्यटकों को यहां आने में कठिनाई होती थी, अपितु स्थानीय भी इस पीड़ा को झेलने को विवश होते थे। इन्हीं सब समस्याओं को दूर करने के लिए नई योजना पर कार्य हुआ। इसके अंतर्गत पूरे 9 किलोमीटर एरिया में सीवरेज, ड्रेनेज और जो बिजली के तार को अंडरग्राउंड कर नए तरीके के ट्रांसफार्मर को लगाया गया है। यहां तक की सकरी गलियों में जहां पर सीवर व ड्रेनेज के लिए मशीनें नहीं जा सकती थी वहां पर रैट माइनिंग की सहायता से ट्रेंचलेस खुदाई भी हुई है।
आपको हम यहां पर हुए सभी कार्यों की एक्सक्लूसिव ग्राउंड रिपोर्ट में छवि दर्शाते हुए सभी जानकारी देते हैं। बता दें कि इसमें पूरे सारनाथ क्षेत्र को टूरिस्ट फ्रेंडली बनाया गया है।इसके लिए हेरिटेज स्ट्रीट लाइट, फसाड लाइट, व्यवस्थित पार्किंग, शौचालय, हेरिटेज लुक वाले किओस्क बनाए गए हैं। पर्यटकों की सुविधा के लिए यहां पर खूबसूरत पैडिस्ट्रीयल पथ, बैठने के लिए आरामदायक स्थान व कुर्सी बनाई गई हैं।इसके साथ ही पूरे क्षेत्र में बुद्धिस्ट थीम पर साइनेज भी लगाए जा रहे हैं। यही नहीं सुरक्षा व सुविधा के अंतर्गत सीसीटीवी, वाईफाई, एलईडी स्क्रीन लगाई गई हैं। जिसकी वर्तमान परिस्थिति आपके स्क्रीन पर उपलब्ध है।
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यही नहीं स्थानीय लोगों हेतु वेंडिंग जोन रोजगार संग बेहतर आमदनी का माध्यम भी होगा। जी हां, यहां के परिवर्तित स्वरूप के कारण जहां यहां बसे हुए लोगो को भी बड़ी राहत मिलेगी तो वहीं इसके साथ ही पर्यटकों को भी सारनाथ का एक नया आयाम मिलेगा। इन प्रोजेक्ट्स में रोजगार व आमदनी बढ़ाने पर भी कार्य किया जा रहा है। इसके अंतर्गत यहां कई वेंडिंग जोन तैयार किया जा रहा है। इसमें बनारसी समेत अन्य देशों के खानपान की सुविधा होगी। इसके साथ ही सोविनियर, जीआई उत्पाद, ओडीओपी आदि दुकानें भी सजाई जाएंगी। रोजगार व लोगों की आमदनी बढ़ाने के लिए विशेष हेरिटेज थीम पर बने कार्ट भी स्थानीय लोगों को दिए जाएंगे, जिससे वह अपने सामानों की बिक्री कर सकेंगे।
अधिक जानकारी हेतु बता दें कि वर्ल्ड बैंक की सहायता से प्रो पुअर पर्यटन विकास परियोजना के अंतर्गत लगभग 91 करोड़ की लागत से सारनाथ का पर्यटन विकास कार्य को हरी झंडी 2021 में दिखाई गई थी।
प्रो पुवर परियोजना की प्रमुख बात यह है कि इस प्रोजेक्ट के पूर्ण होने पर निश्चित रूप से सारनाथ का पर्यटन विकास होने के पश्चात यहां पर शांति के साथ साथ अंतरराष्ट्रीय स्तर की भव्यता भी आने वाले पर्यटकों को और बढ़कर देखने को मिलेगी।
सारनाथ का पर्यटन विकास के दौरान जो विकास कार्य हुए हैं उनमें प्रमुख है –
1. चौखंडी स्तूप से रेलवे स्टेशन तक पाथवे का निर्माण,
2. रिंग रोड एवं रेलवे स्टेशन के प्रवेश मार्ग को सुदृढ़ किया गया।
3. योजना अंतर्गत सारनाथ स्थित 26 मंदिरों के मार्गो को अंतरराष्ट्रीय स्तर का पहुंच मार्ग बनाना
4. म्यूजियम से सारनाथ तक के मार्ग का सौंदर्यीकरण।
5.सारनाथ स्थित सम्राट अशोक के समय का बने नाले को एसटीपी का उपयोग करते हुए ढका गया।
6. 19 बसों की पार्किंग।
7. सारनाथ में बौद्ध एवं जैन धर्म पर आधारित आध्यात्मिक पुस्तकालय भी बनाना।
8. सारनाथ में स्किल डेवलपमेंट सेंटर भी बनाना। जिससे यहां के कलाकार व आर्टिजन अपनी कलाकृति का वैल्यू एडिशन कर सकेंगे। इस ट्रेनिंग सेंटर के माध्यम से अंतरराष्ट्रीय स्तर की तकनीकी का प्रयोग कर विदेशों में इसे निर्यात भी कर सकेंगे।
9. पर्यटकों की सुरक्षा के दृष्टिगत रखते हुए सारनाथ में सीसीटीवी कैमरा, वाईफाई की व्यवस्था के साथ-साथ एलईडी स्क्रीन भी लगाना।
10. सारनाथ क्षेत्र के लोकल वेंडरों को बढ़ावा देने हेतु सभी को आधुनिक 286 ठेलों का आवंटन, जोकि बनकर तैयार हैं।
11. स्थानीय दिव्यांग जनों को गोल्फ कार्ड उपलब्ध करा कर उन्हें सीधे पर्यटन से जोड़ा जाएगा।
12. इसके अतिरिक्त पौधारोपण हरियाली व विशेष प्रकाश व्यवस्था। तथा आकर्षक म्यूरल्स वाॅल जिसपर स्थान का इतिहास की व्याख्या है। गैदरिंग प्लाजा, नो व्हीकल ज़ोन, 100 लोगों के लिए शेल्टर, पुलिस बूथ व टूरिस्ट इनफार्मेशन सेंटर। जिससे यहां आने वाले देशी-विदेशी पर्यटकों कि किसी भी समस्या का तात्कालिक निस्तारण हो सके। सारनाथ परिक्षेत्र को इस प्रकार विकसित किया जा रहा है, ताकि पर्यटक सुखद स्मृतियों के साथ ही उच्च स्तर का लाभ उठा सकें।
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अब आपको बता दें की प्रो पुअर पर्यटन का अर्थ होता है ऐसा पर्यटन जिससे गरीबों को लाभ मिले। इसे गरीब समर्थक पर्यटन भी कहते हैं। इस योजना के अन्तर्गत पर्यटन विकास सम्बन्धी गतिविधियों के माध्यम से गरीबी-उन्मूलन तथा रोजगार-सृजन करने का प्रयास किया जाता है। जिसमें कि चिन्हित क्षेत्रों में स्थित पर्यटन स्मारकों/स्थलों पर मूलभूत पर्यटक सुविधाओं के सृजन एवं विकास के साथ ही साथ तत्सम्बन्धी क्षेत्रों में रहने वाले स्थानीय लोगों के आर्थिक/सामाजिक स्तर के उन्नयन तथा रोजगार-परक अवसर हेतु विभिन्न गतिविधियां प्रदान की जाती हैं।
और इसी उद्देश्य से विश्व बैंक सहायतित उ0प्र0 प्रो-पुअर पर्यटन विकास परियोजना के अन्तर्गत आगरा, ब्रज, सारनाथ एवं कुशीनगर क्षेत्र के पर्यटन विकास सम्बंधी गतिविधियों के माध्यम से मुलभूत सुविधाएं विकसित की जा रही हैं। इसके साथ ही इन क्षेत्रों में रहने वाले स्थानीय लोगों के लिए रोजगार सृजित किया जा रहा है।
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